मणिपुर का मामला हो या हरियाणा के नूंह के हालात तस्वीरें डराने वाली सामने आ रही हैं और सवाल सिर्फ एक है कि आखिर जिम्मेदार कौन है। ऐसे में विरोधी दलों की तरफ से सत्ताधारियों को सीधे तौर पर लपेटे में लिया जा रहा है और ऐसा लपेटा जा रहा है कि सत्ताधारियों को सांप सूंघ गया है। आरएलडी चीफ जयंत चौधरी ने तो ऐसा हल्ला बोल किया है कि एक झटके में आवाम उनके साथ आकर खड़ी हो गई। अखिलेश के यार ने एक ऐसे राज से पर्दा हटाया जिसने बता दिया कि नूंह में जो रहा है उससे किसको नफा होगा और आवाम का नुकसान क्यों करवाया जा रहा है। इस कहानी का एक एक किरदार अब हैरान करता है और हर किरदार के कॉलर से आने वाली बू बता रही है कि जिम्मेदार इसके लिए कौन है।
राष्ट्रीय लोकदल प्रमुख जयंत चौधरी का बयान सामने आया है और उन्होंने हरियाणा के नूंह पर कहा कि चुनाव आने वाला है। इसलिए देश को आग में डालने की कोशिश हो रही है। आऱएलडी प्रमुख ने नूंह से आने वाली दुखद तस्वीरों पर चिंता जताई। उन्होंने दो टूक कहा कि शोभायात्रा और महापंचायत का कोई औचित्य नहीं था। उन्होंने सरकार से शरारती तत्वों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की।विश्व हिंदू परिषद की शोभायात्रा निकाले जाने के दौरान दो समुदाय आमने-सामने आ गए थे।पत्थरबाजी के बाद जमकर हिंसा शुरू हो गई।हिंसा में अब तक पांच लोगों की मौत हो चुकी है।हरियाणा पुलिस ने नूंह हिंसा में जान गंवाने वाले दो होमगार्ड के परिवारों को 57-57 लाख रुपये का मुआवजा देने की घोषणा की है।
नूंह और गुरुग्राम जिले में सांप्रदायिक हिंसा के बाद तनाव की स्थिति बनी हुई है। नूंह हिंसा में दो होमगार्ड समेत चार लोगों की जान चली गई…एक शख्स की मौत गुरुग्राम में हुई है। पुलिस का कहना है कि अब तक 22 मुकदमे दर्ज किए गए हैं। नूंह हिंसा मामले में 15 लोगों की गिरफ्तारी और 150 से पूछताछ की गई है।मुख्यमंत्री मनोहर लाल खट्टर ने गृह मंत्री अनिल विज और शीर्ष अधिकारियों के साथ चंडीगढ़ में बैठक की थी। बैठक के बाद उन्होंने कहा कि घटना किसी बड़ी साजिश का हिस्सा लगती है। उन्होंने हिंसा में बाहरी लोगों के शामिल होने का अंदेशा भी जताया। मुख्यमंत्री के मुताबिक उपद्रवियों की पहचान की जा रही है,दोष साबित होने पर किसी को भी बख्शा नहीं जाएगा।
जयंत चौधरी ने जैसे ही इस घटना का कनेक्शन आगामी लोकसभा चुनाव के साथ जोड़ा उसके बाद तो हंगामा और ज्यादा बरप गया है और सोशल मीडिया पर लोग जयंत का समर्थन करते हुए इसी बात का दावा कर रहे हैं कि असल मुद्दों से ध्यान हटाने के लिए और चुनाव में नफा लेने के लिए सियासी लोगों ने इस घटना को अपने चमचों से अंजाम दिलवाया है लेकिन असल किरदार पर्दे के पीछे हैं और आम आवाम इसका नतीजा भुगत रही है।जयंत चौधरी के आरोपों के बाद मामले ने सनसनी का रूप ले लिया है और अब यही सनसनी सियासत में धमाका कर रही है।